एक नज़रिया

Cleric
Feb 19, 2021

नहीं मरणासन्न है ये पौधा
जीवन की झलक दिख रही है मुझे
सींचे जा रहा हूँ, यकीं है मुझे,
मुनाफे का है ये सौदा

ये भी एक नज़रिया है,
मेरे जीने का जरिया है

हक़ीक़त हो कहीं
मेरी राय है यही
तुम ना कहना,
बीच दोनों के दरिया है

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